दस मिनट का चमत्कार – बन जाओ प्रोडक्टिव निन्जा
प्रोडक्टिविटी एक ऐसा टूल है, जो हमें हमारे गोल्स को प्राप्त करने में मदद करता है। लेकिन कई बार, हम अपने कार्यों को इतना बड़ा और चुनौतीपूर्ण समझते हैं कि हम उन्हें शुरू करने से ही डर जाते हैं। यही कारण है कि “दस मिनट का चमत्कार” यह सिद्धांत इतना प्रभावी है। यह सिद्धांत कहता है कि यदि आप किसी कार्य को छोटे-छोटे दस मिनट के टुकड़ों में विभाजित करें, तो आपको उस कार्य को पूरा करने में आसानी होगी और आप अधिक प्रोडूक्टिव महसूस करेंगे।
कैसे काम करता है दस मिनट का चमत्कार?
आपको अगर कहा जाए की 100 पीसेज वाले पजल को 1 ही बार मे जोड़ना है तो हमें एक प्रेशर सा महसूस होगा और उसे पूरा करने में अधिक समय लग जायेगा, वहीं पर आपको कहा जाए की एक बार मे बस 5 पीस को जोड़ना है, तो वह हमें बेहद आसान लगेगा!
मानव मन की इसी प्रवृत्ति पर यह सिद्धांत आधारित है। हम अक्सर बड़े कार्यों को देखकर अभिभूत हो जाते हैं और हमे लगता है कि उन्हें पूरा करने के लिए बहुत अधिक प्रयास की आवश्यकता होती है। लेकिन जब हम किसी कार्य को छोटे-छोटे टुकड़ों में विभाजित करते हैं, तो यह हमें कम चुनौतीपूर्ण और अधिक प्रबंधनीय लगता है। हम सोचते हैं, “मैं सिर्फ दस मिनट के लिए काम कर लूंगा या कर लूंगी।” और जब हम दस मिनट के बाद देखते हैं, तो हम अक्सर पाते हैं कि हमने उस कार्य को पूरा कर लिया है या कम से कम उसमें काफी प्रगति कर ली है।
दस मिनट के चमत्कार का लाभ
– अधिक उत्पादकता: दस मिनट के छोटे-छोटे टुकड़ों में काम करने से आप अधिक प्रोडूक्टिव बन सकते हैं। आप कम समय में अधिक काम पूरा कर पाएंगे।
– कम तनाव: बड़े कार्यों को छोटे-छोटे टुकड़ों में विभाजित करने से आप तनाव कम महसूस करेंगे। आपको लगता है कि आप स्वयं के नियंत्रण में हैं और आप अपने गोल्स को प्राप्त कर सकते हैं।
– बढ़ा हुआ आत्मविश्वास: जब आप दस मिनट के छोटे-छोटे टुकड़ों में काम करते हैं और देखते हैं कि आप उस कार्य को पूरा कर सकते हैं, तो आपका आत्मविश्वास बढ़ता है।
– बेहतर फोकस: दस मिनट के छोटे-छोटे टुकड़ों में काम करने से आपको बेहतर फोकस करने में मदद मिलती है। आपको अपने काम पर ध्यान केंद्रित करने के लिए अधिक समय नहीं लगाना पड़ता।
दस मिनट का चमत्कार कैसे लागू करें
– अपने कार्यों को छोटे-छोटे टुकड़ों में विभाजित करें: अपने बड़े कार्यों को छोटे-छोटे, प्रबंधनीय टुकड़ों में विभाजित करें।
– समय सीमा निर्धारित करें: प्रत्येक छोटे कार्य के लिए एक समय सीमा निर्धारित करें।
– टाइमर सेट करें: एक टाइमर सेट करें और उस समय सीमा के लिए काम करें।
– विराम लें: प्रत्येक कार्य के बाद एक छोटा विराम लें ताकि आप ताज़ा महसूस करें।
– प्रगति का ट्रैक रखें: अपनी प्रगति का ट्रैक रखें ताकि आप देख सकें कि आप कितना दूर आ गए हैं।
दस मिनट का चमत्कार एक शक्तिशाली उपकरण है जो आपको अधिक प्रोडूक्टिव बनने में मदद कर सकता है। आप भी निन्जा की तरह जल्दी से अपने सारे काम पूर्ण करना शुरू कर देंगे!
इसे आज ही अपने जीवन में लागू करें और देखें कि यह आपके लिए क्या कर सकता है। याद रखें, छोटे-छोटे कदम बड़े परिणाम ला सकते हैं।
– अखिल अशोककुमार बाहेती
– लेखक – “समय नहीं है?”
– इचलकरंजी, महाराष्ट्र
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What is the lead time in inventory management” is a question that holds significance in supply chain efficiency. Lead time refers to the duration between placing an order and receiving the goods. It encompasses order processing, manufacturing, shipping, and delivery. Understanding lead time aids in avoiding stockouts and overstocking, ensuring smoother operations, and meeting customer demands effectively.